हर महीने आने वाला अनचाहा मेहमान यानि कि ‘‘माहवारी’’ काफी कष्टदायक हो सकती है| सचमुच! अगर आपने माहवारी के दौरान तकलीफ का सामना किया है,
तो आप अकेली नहीं हैं, हर दूसरी महिला को माहवारी
के दर्द से जूझना पड़ता है| कुछ महिलाओं के लिये यह मामूली परेशानी
हो सकती है, तो कुछ के लिये यह दैनिक गतिविधियों को प्रभावित
करने जितना गंभीर हो सकता है| अगर आप कष्टदायक माहवारी का सामना
करने वाली महिलाओं में से हैं, तो आपको कई तरह के तकलीफ़ देने
वाले लक्षणों की जानकारी होगी| इनमें पेट के निचले हिस्से में
चुभने वाला तेज़ दर्द शामिल है, जो ख़ास तौर पर आपकी माहवारी के
१ से ३ दिन पहले शुरू होता है और आपकी माहवारी के दौरान अपने चरम पर पहुंचता है|
हममें से कुछ के लिये यह दर्द इतना गंभीर होता है कि यह कमर और जांघों
तक पहुंच जाता है और दस्त, उबकाई, उल्टी,
सिरदर्द और चक्कर जैसे लक्षण पैदा करता है|१,२
डिस्मेनोरिया गर्भाशय की
दीवार के झड़ने के लिये होने वाले मांसपेशियों के संकुचन से उत्पन्न माहवारी की पीड़ादायक
ऐंठन का चिकित्सीय नाम है|३
डिस्मेनोरिया प्रजनन की उम्र
वाली महिलाओं की सबसे आम समस्या है|३ डिस्मेनोरिया का प्रकोप १६%-९१% तक है|३ माहवारी का दर्द ग़ैरहाज़िरी के मुख्य कारणों में से एक है, जो हाज़िर होने पर भी परेशानी का कारण बन सकता है, क्योंकि
हाज़िर होने के बावजूद पीड़ित महिला अपनी पूरी क्षमता तक काम नहीं कर पाती|४,५
आइये, अब डिस्मेनोरिया के दो मुख्य प्रकारों
पर नज़र डालते हैं
प्राथमिक डिस्मेनोरिया ज्यादा सामान्य प्रकार है, जिसका संबंध बच्चेदानी (गर्भाशय) की अन्य बीमारियों से नहीं होता|
यह प्रोस्टाग्लैंडिन्स नामक प्राकृतिक केमिकल (रसायन) के स्राव के कारण
होता है, जिससे गर्भाशय सिकुड़ता है और दर्द होता है| इन रसायनों का स्तर अक्सर माहवारी की शुरुआत के समय अधिक होता है और माहवारी
ख़त्म होने तक इनका स्तर गिरता रहता है, यही कारण है कि अक्सर
दर्द माहवारी के पहले कुछ दिनों के बाद कम हो जाता है|१,६,७
सेकंडरी डिस्मेनोरिया माहवारी से संबंधित दर्द को कहते हैं, जो गर्भाशय की किसी छुपी हुई बीमारी के कारण होता है| इस प्रकार का दर्द पूरी माहवारी के
दौरान बढ़ता रहता है और माहवारी के बाद भी जारी रह सकता है|१,६,७
सेकंडरी डिस्मेनोरिया के सामान्य कारण नीचे दिये गये हैं|१,६,७
- गर्भाशय में फाइब्रॉइड्स
- पेल्विक इन्फ्लेमेटरी डिसीस (श्रोणि उत्तेजक रोग)
- एंडोमेट्रियल पॉलिप्स (एक बीमारी, जिससे गर्भाशय की दीवार बहुत ज़्यादा बढ़ जाती है)
- एंडोमेट्रियोसिस (एक बीमारी, जिसमें गर्भाशय के भीतरी आवरण के जैसा टिशू (ऊतक)
गर्भाशय के बाहर बढ़ता है)